Posts

समाज के लिए संघर्ष करते बहुजन लीडर को भोजन कराते बहुजन समाज

Image
Jyotish Ambedkar    A K Ambedkar  Kunda Todkar  Geeta Paitrik  #25th_Day_वैशाली #राष्ट्रीय_मूलनिवासी_महिला_संघ के परिवर्तन यात्रा में शामिल पूरी टीम को सुबह का नाश्ता आज आदरणीय रामनरेश जी के अवास पर कराई गई .... इकने सभी परिवार के लोगों आभार प्रकट करता हूं..... #बहुजन_मुक्ति_पार्टी का समर्थन व सहभाग मिला है। नेतृत्व:- #आयु_कुंदा_तोड़कर मैडम (राष्ट्रीय अध्यक्षा,राष्ट्रीय मूलनिवासी महिला संघ,नई दिल्ली) #आयु_गीता_पैट्रिक_मैडम (पूर्णकर्ली प्रचारक,RMMS, नई दिल्ली) समर्थन: - #ए_के_अम्बेडकर (प्रदेश अध्यक्ष, बहुजन मुक्त्ति पार्टी, बिहार) #15मई_2023 आदरणीय रामनरेश जी के अवास पर भोजन करते हुए   वैशाली, हाजीपुर ,   

" मा.दीनाभाना साहब के 13वें स्मृति दिवस के अवसर में बामसेफ परिवार संघ की ओर से विनम्र अभिवादन!" #JyotishAmbedkar

Image
  " मा.दीनाभाना साहब के 13वें स्मृति दिवस के अवसर में बामसेफ परिवार संघ की ओर से विनम्र अभिवादन!" " मा.दीनाभाना साहब के 10वें  स्मृति दिवस के अवसर में बामसेफ परिवार संघ  की ओर से विनम्र  अभिवादन!" अगर, बगावत का कोई दूसरा नाम है तो वह है दीनाभाना. जी हाँ मा.दीनाभाना जी वह नाम है  जिन्होंने कांशीराम साहब को डाॅ.बाबासाहब अम्बेडकर के व्यक्तित्व व कृतित्व से रूबरू कराया  और कांशीराम साहब के अंदर छिपी बहुजन नेतृत्व की भावना को सुसुप्तावस्था से जाग्रत कर  देश को न केवल एक समर्थ बहुजन नेतृत्व दिलवाने का ऐतिहासिक कार्य किया, बल्कि कांशीराम साहब  को मान्यवर भी बना दिया. आज पूरे देश में जय भीम, जय मूलनिवासी की जो आग लगी है उसमे चिंगारी  लगाने का काम मा.दीनाभाना साहब ने किया है. मा.दीनाभाना साहब का जन्म 28 फरवरी 1928 को  राजस्थान के सीकर जिले के बगास गांव में एक गरीब भंगी परिवार में हुआ था #JyotishAmbedkar, Mr.Anil Singh, MR.Anant Paswan, Mr.Jagjivan Ram, MR.Ayodhya G    1956 में आगरा में डाॅ.बाबासाहब द्वारा दिया गया वो भाषण सूना जिसमें डाॅ.बाबासाहब अम्बेडकर ने कहा था कि ‘‘मुझे

DNA_ने_सिद्ध_किया_ब्राह्मण_विदेशी_है

Image
  # DNA_ने_सिद्ध_किया_ब्राह्मण_विदेशी_है DNA ने सिद्ध किया ब्राह्मण और बहुजन दो अलग-अलग मुल्क के हैं, इस तथ्य को इतिहास भाषा-शास्त्र और पुरातत्व के माध्यम से यह सिद्ध कर दिया है. आधुनिक काल में सबसे प्रमाणिक जेनेटिक साईंस ने रिसर्च के आधार पर यह प्रमाणित कर दिया है कि ब्राह्मण भारत के मूलनिवासी नहीं हैं, बल्कि वह यूरेशिया के एस्किमोजी प्रांत का मूलनिवासी हैं, मानव शरीर के DNA में यह खास बात है कि हजारों साल की जानकारी DNA कोड के रूप में संरक्षित और सुरिक्षत रहती है. यह साईंटिस्ट का भी कहना है कि यह DNA काफी लंबी होती है और इस DNA में लाखों करोड़ों कोडोन होती है और उस कोडोन का अध्ययन करके, उस व्यक्ति की संपूर्ण जानकारी हासिल कर सकते हैं. हम कब बूढ़े होंगे, हमारा बर्ताव कैसा होगा या हमारे शरीर का आकार कैसा होगा? यह सारी जानकारी कोड के रूप में DNA में संरक्षित रहती है. इतना ही नहीं, हम कहाँ से आये है और हमारे पुरखे कौन थे और किस प्रदेश में सबसे पहले रहते थे और किन-किन प्रदेशों से गुजरते हुए कहाँ आये हैं? इसकी सभी जानकारी भी कोडोन के रूप में संरक्षित रहती है. जेनेटक शास्त्र इन जेनेटिक कोड का

प्रेरणा स्थल दीक्षाभूमि नागपुर

Image
  #राजनीति_नहीं_जन_आन्दोलन #प्रेरणा_स्थल_दीक्षाभूमि_नागपुर 14 अक्टूबर,1956 को डा.बाबा साहब अम्बेडकर ने गैर बराबरी, छुआछूत,जात-पात,ऊंच-नीच,भेद -भाव पर आधारित ब्राह्मण धर्म को लात मरते हुऐ। बराबरी और समानता पर आधारित बुद्ध धम्म को लाखों लोगों के साथ नागपुर में अपनाया था। हमलोग दीक्षाभूमि पर प्रेरणा लेने के लिए आए हैं।साथ में बामसेफ बिहार प्रदेश अध्यक्ष मा. ई. अर्जुन सिंह सर, राष्ट्रीय पिछड़ा वर्ग मोर्चा के प्रदेश प्रभारी अशोक वर्मा जी, प्रचारक बीरा राम जी हैं।

Bhart की एकता और अखंडता को खतरे में डालने वाली ताकतों के खिलाफ भारत बंद ! Waman meshram

Image
        Waman Meshram भारत की एकता और अखंडता को खतरे में डालने वाली ताकतों के खिलाफ दि.25 जून 2022 को भारत बंद का  आवाहन किया जा रहा है.                                                     Bamcef Bihar Unit  भारत मुक्ति मोर्चा, बहुजन क्रांति मोर्चा और    राष्ट्रीय परिवर्तन मोर्चा के सभी सहयोगी संगठनों के पदाधिकारी,    कार्यकर्ता, समर्थक एवं राष्ट्रीय एकात्मता के पक्षधरों से आवाहन किया जाता है की इस भारत बंद को सफल बनाये और   अपने  देश की एकता और अखंडता को बचाए.                                                            दीक्षा भूमि नागपुर                                                      दीक्षा भूमि नागपुर में    JYOTISH    AMBEDKAR         

जाति व्यक्तिगत नहीं, सामाजिक संरचना है। “Castes in India” B.R.Ambedkar

Image
                                “Castes in India” कुछ लोग अपनी जाति पर ऐसे गर्व करते हैं  जैसे कि एक्जाम पास करने के बाद  नंबर के आधार पर जाति अलॉट हुई हो!   ये बकवास है कि जाति जन्मना नहीं, कर्मणा है।  जाति कभी कर्म आधारित नहीं थी।  जन्म से जैसे आपकी पीठ पर तिल है,  वैसी ही चीज है जाति।  जन्म के समय ही चिपक जाती है। @AmbedkarJyotish // jyotish Ambedkar   जाति व्यक्तिगत नहीं, सामाजिक संरचना है।   @AmbedkarJyotish // Jyotish Ambedkar   एक जाति से जाति व्यवस्था नहीं बन सकती।  हमेशा जातियों की ज़रूरत होती है।  जाति बहुवचन में ही काम कर सकती है।  हर किसी को किसी से ऊपर या नीचे रखने की व्यवस्था है जाति।  इसलिए बाबा साहब ने  “Caste in India” नहीं  “Castes in India” किताब लिखी। @AmbedkarJyotish // Jyotish Ambedkar

धम्म और धर्म में जमीन आसमान का अंतर है। JyotishAmbedkar

Image
  धम्म और धर्म में जमीन आसमान का अंतर है। एक जमीन है तो दूसरा आसमान है। एक विज्ञान यानि जांचने परखने (परिक्षण/रिसर्च) पर खडा है तो  दूसरा कल्पना यानि बिना जांचे परखे सिर्फ मानने से चल रहा है। एक मुंह खोलकर प्रश्न के सवाल जवाब पर खरा है तो दुसरा मुंह बंद करके सिर्फ सुनने और मानने का आदेशों निर्देशों का पुलिंदा है। एक सवालों से निखरता है और दूसरा सवालों से डरता है। एक वैज्ञानिक है तो दूसरा अवैज्ञानिक है। एक प्राकृतिक (Natural) है तो दूसरा अप्राकृतिक है।  Jyotish Ambedkar एक को जानने से व्यक्ति करुणामयी, अहिंसक बनता है और  दुसरा हिंसक बनाता है।एक मानसिक विकार दूर करता है दूसरा मानसिक रोगी बनाता है। एक में बहुसंख्यक लोगों का भला है तो दूसरे में सिर्फ काल्पनिक बातों का प्रचार प्रसार करनेवाले  अल्पसंख्यक लोगों दवारा बहुसंख्यकों का शोषण है। इसलिए कार्ल मार्क्स ने धर्म को अफीम कहा है  * यानि नशा सिर्फ बर्बाद करता है। @JyotishAmbedkar